अहमदाबादः अक्टूबर 2021 से नवंबर 2022 तक शहर में 22,000 सड़क यातायात से जुड़ीं दुर्घटनाएं (RTA) दर्ज की गईं। यानी प्रतिदिन औसतन 61 सड़क हादसे हुए। ये आंकड़े ईएमआरआई (EMRI)108 के हैं।
बता दें कि हाल ही में 20 नवंबर को सड़क यातायात पीड़ितों (Road Traffic Victims) की याद और उनकी मदद के विषय पर विश्व स्मरण दिवस (World Day of Remembrance for Road Traffic Victims) मनाया गया था। इसमें ईएमआरआई एम्बुलेंस सेवाओं के डेटा ने बताया कि प्रह्लादनगर, बोदकदेव, गोटा और बोपल में एसजी रोड के करीब ट्रैफिक हादसे से जुड़े काफी मामले होते हैं। इनकी संख्या शहर के बीचोबीच आईआईएम चौराहा और नवरंगपुरा जैसे इलाकों से बहुत अधिक रहती हैं।
प्रह्लादनगर में अक्टूबर 2021 से नवंबर 2022 तक 440 आरटीए मामले दर्ज किए गए। इसके बाद बोडकदेव में 417, गोटा में 395, बोपल में और चांदखेड़ा में 373 मामले दर्ज किए गए।
पिछले एक साल में सभी आरटीए मामलों के एक नक्शे ने भी संकेत दिया कि एसपी रिंग रोड, एसजी रोड और 132 फीट रिंग रोड सहित लगभग सभी प्रमुख सड़कें दुर्घटनाओं से भरी हुई हैं।
आंकड़ों ने संकेत दिया कि सबसे अधिक प्रभावित दोपहिया चालक थे। उसके बाद कार और ऑटो चालक थे। ईएमआरआई के एक सीनियर अफसर ने कहा
“एक एम्बुलेंस आमतौर पर 2.5 से 3 किलोमीटर के दायरे में कार्य करती है। इस प्रकार, यदि एम्बुलेंस प्रह्लादनगर में है, तो वह दोनों ओर आनंदनगर या एसजी रोड तक जा सकती है। लेकिन इसका उद्देश्य दुर्घटना हॉटस्पॉट का पता लगाना है, ताकि एम्बुलेंस को उसके लिए तैयार किया जा सके।”
2021 और 2022 में पांच महीनों (जुलाई से नवंबर) की तुलना ने संकेत दिया कि प्रह्लादनगर स्थान शीर्ष पर रहा, उसके बाद बोदकदेव का स्थान रहा। अधिकारी ने कहा, “2021 में तीसरा स्थान चांदखेड़ा रहा, जबकि बोपाल ने 2022 में इसे बदल दिया। नवरंगपुरा और सरखेज 2021 में शीर्ष पांच स्थानों में रहे, जबकि नवरंगपुरा और गोटा 2022 में चौथे और पांचवें स्थान पर रहे।”
शहर के यातायात पुलिस अधिकारियों ने कहा कि एसजी रोड और सिंधु भवन रोड जैसे क्षेत्रों में चालान करने से लेकर गलत चालकों तक स्पीड गन के साथ टीमों की तैनाती शुरू किए गए हैं, ताकि सड़क दुर्घटनाओं को कम किया जा सके। राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) के 2021 के आंकड़ों के अनुसार, अहमदाबाद में आरटीए के कारण 403 लोगों की मौत हुई थी, जबकि 1,063 लोग घायल हुए थे।
अहमदाबाद ट्रैफिक कंसल्टेटिव कमेटी (ATCC) के अध्यक्ष डॉ. प्रवीन कनाबार ने कहा कि सड़क दुर्घटनाएं- खासकर शहरी इलाकों में- एक गंभीर समस्या है। सुरक्षा के तीनों ई- इंजीनियरिंग, प्रवर्तन (enforcement) और शिक्षा (education) सड़कों पर कीमती जीवन बचाने के लिए आवश्यक हैं। डेटा ने संकेत दिया कि ट्रैफिक में वृद्धि और भीतरी सड़कों से हाईवे तक जाम रहने से एसजी रोड के आसपास दुर्घटनाएं बहुत अधिक हुईं।”
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