गुजरात सरकार 15 अप्रैल से संशोधित जंत्री दरों को लागू करेगी। साथ ही प्रोपर्टी की खरीद पर स्टांप शुल्क और रजिस्ट्रेशन शुल्क को कम करने के प्रस्ताव पर भी गंभीरता से विचार कर रही है। यह जानकारी राज्य सरकार के शीर्ष सूत्रों ने दी।
इस महीने के अंत में शुरू होने वाले गुजरात विधानसभा के बजट सत्र में संशोधित स्टांप शुल्क और रजिस्ट्रेशन शुल्क दरों को लिस्टेड करने वाला वित्त विधेयक (finance bill) पेश किए जाने की उम्मीद है।
स्टांप शुल्क और रजिस्ट्रेशन शुल्क में कमी को लेकर रियल एस्टेट क्षेत्र की लंबे समय से मांग रही है। उसने इसके लिए सरकार को कई बार ज्ञापन भी दिया है। वर्तमान में प्रोपर्टी रजिस्ट्रेशन पर 4.9% का स्टांप शुल्क और 1% का रजिस्ट्रेशन शुल्क लगता है। महिला खरीदारों को रजिस्ट्रेशन शुल्क में 1% की छूट दी गई है। प्रोप्रटी रजिस्ट्रेशन की संख्या के मामले में जंत्री दरें रियल एस्टेट क्षेत्र पर होंगी।
रियल एस्टेट सेक्टर किफायती आवास खंड (affordable housing segment) में स्टांप शुल्क को 4.9% से घटाकर 1% करने की मांग कर रहा है।
क्रेडाई गुजरात के मुताबिक, अगर इस मांग को मान लिया जाता है तो अफोर्डेबल हाउसिंग सेगमेंट (25 लाख रुपये से 75 लाख रुपये के घर) को बड़ा बढ़ावा मिलेगा। इसके अलावा, क्रेडाई सभी आवास खंडों में स्टांप शुल्क और पंजीकरण शुल्क में 50% की कमी की भी मांग कर रहा है।
पूर्व केंद्रीय वित्त सचिव हसमुख अधिया की अध्यक्षता वाली एक विशेषज्ञ समिति ने भी आवास की मांग को बढ़ावा देने के लिए स्टांप शुल्क और रजिस्ट्रेशन शुल्क दरों को कम करने की सिफारिश की थी।
कोविड के बाद के आर्थिक पुनरुद्धार रोडमैप (economic revival roadmap) को तैयार करने के लिए बनी समिति ने सिफारिश की थी। उसने कहा था, “तत्काल अवधि में मांग को प्रोत्साहित करने के लिए गुजरात सरकार एक डेवलपर से सभी आवासीय इकाइयों की खरीद पर स्टैंप ड्यूटी और रजिस्ट्रेशन शुल्क की घटनाओं को 50% तक कम कर सकती है।”
स्टांप ड्यूटी और रजिस्ट्रेशन शुल्क से सरकारी राजस्व (revenue) में पिछले वर्ष की तुलना में 2022 में 19% की वृद्धि दर्ज की गई। राज्य में 2022 में रजिस्टर्ड प्रोपर्टी की संख्या 15,97,188 थी, जो पिछले कैलेंडर वर्ष में राज्य में रजिस्टर्ड 14,29,607 प्रोपर्टी की तुलना में 11% अधिक है। स्टांप ड्यूटी और प्रोपर्टी रजिस्ट्रेशन से सरकारी राजस्व भी 2021 में 7,337.9 करोड़ से बढ़कर 2022 में 8,769 करोड़ हो गया।
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