देश के लिए शर्मनाक बिलकिस बानो( Bilkis Bano) सामूहिक बलात्कार और 7 हत्या Gang Rape के 11 दोषियों की क्षमा दान नीति के तहत रिहाई पर सवाल खड़ा करते हुए कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा Pawan Khera ने आरोप लगाया की दोषियों की रिहाई केंद्र सरकार की सहमति से हुयी है। सीआरपीसी( CRPC )(दण्ड प्रक्रिया संहिता) 435 का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा की जिस मामले की जाँच केंद्रीय एजेंसी ने की हो उसमे रिहाई के लिए संघ ( केंद्र ) की अनुमति अनिवार्य होती है। प्रधानमंत्री ( Prime minister )को इस मामले में चुप्पी तोड़नी होगी।
विदित हो कि सीआरपीसी 435 के मुताबिक ” जिस व्यक्ति को ऐसे अपराधों के लिए दोषसिद्ध किया गया है जिनमें से कुछ उन विषयों से सम्बन्धित हैं जिन पर संघ की कार्यपालिका शक्ति का विस्तार है, और जिसे पृथक-पृथक अवधि के कारावास का, जो साथ-साथ भोगी जानी है, दण्डादेश दिया गया है, उसके सम्बन्ध में दंडादेश के निलंबन, परिहार या लघुकरण का राज्य सरकार द्वारा पारित कोई आदेश प्रभावी तभी होगा जब ऐसे विषयों के बारे में जिन पर संघ की कार्यपालिका शक्ति का विस्तार है, उस व्यक्ति द्वारा किए गए अपराधों के संबंध में ऐसे दण्डादेशों के, यथास्थिति, परिहार, निलम्बन या लघुकरण का आदेश केंद्रीय सरकार द्वारा भी कर दिया गया है। “
जन्माष्टमी का उल्लेख करते हुए कांग्रेस के मीडिया और प्रचार समिति के चेयरमैन खेड़ा ने गुजरात कांग्रेस मुख्यालय राजीव भवन में कहा जब द्रोपदी का अपमान हो रहा था और राज सिंहासन खामोश था , तब द्रोपदी ने द्वारिकाधीश को याद किया था , आज गुजरात देख रहा है कि गुजरात की बेटी के साथ सामूहिक दुष्कर्म और 7 हत्या के आरोपियों को रिहा किया जा रहा है , मिठाई खिलायी जा रही है। स्वागत हो रहा है। दुष्कर्म के दोषियों को सम्मानित किया जा रहा है। क्या ये अमृत महोत्सव है? कांग्रेस की मांग है कि प्रधानमंत्री देश को बताएं कि उन्होंने लाल किले की प्राचीर से जो कहा वह क्या केवल शब्द थे, और उन्हें खुद अपनी बातों पर विश्वास नहीं है।
कांग्रेस नेता ने पूछा, “असली नरेंद्र मोदी कौन है? वह जो लाल किले की प्राचीर से झूठ परोसता है या वह जो अपनी गुजरात सरकार से दुष्कर्म के दोषियों को रिहा कराया है।” यह कांग्रेस पार्टी और देश जानना चाहता है. क्या किसी बेटी को उसकी जाति धर्म देखकर न्याय मिलेगा , क्या आरोपी को सजा जाति धर्म के आधार पर होगी ? हम किस भारत का “अमृत महोत्सव” मना रहे हैं।
कांग्रेस राज्यसभा सांसद अमी याग्निक ( Congress Rajya Sabha MP Amee Yagnik )ने इस दौरान गुजरात सरकार को झूठा बताते कहा 1992 की जिस क्षमा नीति का सरकार हवाला दे रही है , उसे 2013 में वापस ले लिया गया था , यह वेबसाइट में उपलब्ध है। महिला आयोग की खामोशी पर महिला सांसद और सुप्रीम कोर्ट की वरिष्ठ अधिवक्ता (Senior Advocate of Supreme Court )ने सवाल उठाये।
भाजपा विधायक BJP MLA और क्षमादान समिति के सदस्य सीके राउलजी (CK Raulji )के बयान पर नाराजगी जताई जिसमे उन्होंने कहा कि आरोपी ” संस्कारी” थे इसलिए उन्हें रिहा किया गया , ” याग्निक ने कहा कि अपराधी , अपराधी होता है , उसके अपराध पर सजा मिलती है “संस्कार” पर नहीं। हम जानना चाहते है कि किस आधार आरोपियों को रिहा किया गया ?
निर्दलीय विधायक तथा गुजरात कांग्रेस के कार्यकारी प्रमुख जिग्नेश मेवाणी (Gujarat Congress working president Jignesh Mevani )ने कहा कि “भारत के इतिहास में ऐसी कोई घटना नहीं हुयी है , जिसमे किसी गर्भवती महिला के साथ 11 लोगों ने सामूहिक बलात्कार किया हो , उसके 3 साल के बेटे समेत 7 लोगों की हत्या कर दी हो , उनको अदालत ने सजा दी हो और सरकार क्षमा दान दे।” युवा दलित विधायक और मानवाधिकार कार्यकर्ता ने आगे कहा “सत्ताधारी दल के विधायक संस्कार का हवाला दे रहे हैं लेकिन यह गुजरात के संस्कार नहीं हो सकते। सामूहिक बलात्कार और 7 हत्या के आरोपियों को जो संस्कारी माने उन्हें डूब मरना चाहिये। “
बिलकिस बानो मामले को विस्तार से जानने के लिए नीचे दी गयी खबर पढ़े
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