निजी जीवन में लगातार लग रहे आरोपों के बाद गुजरात कांग्रेस के वरिष्ठ नेता भरतसिह सोलंकी ने पार्टी के हित और अपने समर्थकों को किसी तरह की शर्मिंदगी से बचाने के लिए राजनीति से कुछ समय विराम लेने का निर्णय लिया है , लेकिन इस दौरान वह सामाजिक तौर से ओबीसी दलित अल्पसंख्यक और क्षत्रिय समाज को उत्तर गुजरात , मध्य गुजरात , दक्षिण गुजरात में घूम घूमकर एक जुट करेंगे। पूर्व कांग्रेस प्रमुख ने साफ़ किया की वह कांग्रेस से अलग नहीं हो रहे है , 1997 में जब कांग्रेस ने उन्हें निलंबित किया था तब भी वह कांग्रेस से अलग नहीं हुए थे , उनका एक मात्र लक्ष्य भाजपा को सत्ता से बाहर करना है।
हाईकमान के दबाव में उक्त निर्णय किये जाने को उन्होंने पूरी तरह से ख़ारिज करते हुए साफ़ किया की मेरी किसी से कोई बात नहीं हुयी है , यह निर्णय मैंने खुद को छोटा करके लिया है।
कांग्रेस नेता भरतसिह सोलंकी ने आज अपनी पत्नी रेशमा पटेल द्वारा किए गए सभी दावों का खंडन करते हुए जोर देकर कहा कि वीडियो में “वीडियो में रंगरालिया जैसा कुछ नहीं था,” किसी के घर में गुंडों के साथ जबरजस्ती घुसकर किसी लड़की के साथ मारपीट करने पर दोषी कौन है यह सबने देखा है , रेशमा और मीडिया किसके इशारे पर यह सब कर वह भी जल्दी ही साफ़ हो जाएगा।
अपनी चतुर राजनीतिक समझ, और वैज्ञानिक रणनीति बनाने और जनता की नब्ज को समझने के लिए जाने जाने वाले नेता ने कहा कि उनकी पत्नी का किसी के घर में घुसना मारपीट करना और इसे सार्वजनिक करना भी गैरकानूनी था।
उन्होंने यह भी दावा किया कि वह संविधान का उल्लंघन करने के लिए उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई करेंगे। उन्होंने कहा की उनकी जान को खतरा है इसलिए शुभ चिंतक कह रहे है की आप सुरक्षा लीजिये , जिस पर भी जल्दी निर्णय लेंगे।
प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान सोलंकी ने कहा कि उन्हें अपनी निजी जिंदगी के बारे में सार्वजनिक रूप से बात करने के लिए मजबूर किया गया है और इसके लिए उन्हें खेद है। उन्होंने जोर देकर कहा कि उनके और उनकी पत्नी के बीच विवाद कोई नई बात नहीं थी और दोनों तलाक को अंतिम रूप देने की प्रक्रिया में थे। उन्होंने यह भी खुलासा किया कि तलाक की सुनवाई 15 जून को होनी है ।पिछले कई वर्षो से दोनों अलग अलग रह रहे है। रेशमा किसके साथ घूमती है क्या करती है इससे भी कोई लेना -देना नहीं है।
उन्होंने कहा, “मेरा उसके जीवन से कोई लेना-देना नहीं है।” यही वजह थी कि उसने बंगला, नौकर, पैसा और जमीन का सौदा किया था। सोलंकी ने कहा कि उन्हें मजबूर होकर पुराने बंगले में रहना पड़ा. हालांकि बाद में रेशमा अपनी बात से मुकर गई।
सोलंकी ने अन्य दलों पर भी कटाक्ष करते हुए कहा कि यह पूरी घटना उनकी राजनीतिक विरासत को खत्म करने की एक योजना थी। उन्होंने कहा, “यह सब मेरी और मेरे परिवार की 50 साल पुरानी राजनीतिक विरासत को खत्म करने के लिए हो रहा है।”
रेशमा राजनीतिक मामलों में करती थी दखल
पूर्व कांग्रेस प्रदेश प्रमुख ने आरोप लगाया की रेशमा राजनीतिक मामलो में दखल करती थी , अमित चावड़ा को प्रदेश प्रमुख बनाने से आपत्ति थी , किसी के टिकट और प्रचार समिति का अध्यक्ष बनाने से आपत्ति थी , अब यह सब हवा उसको कौन दे रहा है , ये आसनी से समझा जा सकता है। रेशमा के मामा दिलीप पटेल ने इस दौरान सोलंकी को पाक साफ बताते हुए कहा की मैंने समझौता कराया था , जिसमे बांग्ला , गाड़ी , पर्याप्त पैसा देने पर सहमति बनी थी , लेकिन रेशमा ने बाद में समझौता तोड़ कर अमेरिका चली गयी , इन्होने पारिवारिक लाज बचाने के लिए रेशमा के दुसरो से लिए पैसे चुकाए है।
रेशमा को केवल पैसे की भूख
पूर्व रेलवे राज्यमंत्री ने कहा की रेशमा को केवल पैसे की भूख है , यह मेरी दूसरी शादी है , प्रेम विवाह था , लेकिन कुछ समय के बाद ही प्रेम रिश्तों में बचा ही नहीं था , जब मई कोविड में अस्पताल में भर्ती था तब भी वह यही कहती थी की ” अब यह मर जायेगा इसलिए सम्पति मेरे नाम करो , मेरे पिता को भी फ़ोन करके के कहा था , अहमद पटेल ने जब मुझे अहमदाबाद शिफ्ट कराया तो भी उनसे पेपर में हस्ताक्षर कराने के लिए एम्बुलेंस का पीछा किया था।
तीसरा विवाह भी करूँगा
69 वर्षीय नेता ने कहा की अगर वह तीसरा विवाह भी करेंगे तो सहमति से करेंगे , यह उनका निजी जीवन है। किससे करेंगे कब करेंगे ? इस पर किसी को ज्यादा चिंता की जरूरत नहीं है , महंगाई , बेरोजगारी , पूंजीवाद जैसे बहुत सारे मुद्दे चिंता करने के लिए है , जब मेरे लिए हजारों लोग प्रार्थना कर रहे थे तब मेरी पत्नी को चिंता थी की कही मै बिना सम्पति उनके नाम किये ना मर जाऊ।
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