अभिनेता शाहरुख खान ने गुरुवार को अमिताभ बच्चन के साथ कोलकाता अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव के 28वें संस्करण का उद्घाटन किया। इस मौके पर फिल्म पठान की रिलीज का इंतजार कर रहे शाहरुख ने सोशल मीडिया के गलत प्रभावों और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के जरिये समाज में फैली नकारात्मकता का मुद्दा उठाया। दरअसल जब से पठान का गाना ‘बेशरम रंग’ रिलीज हुआ है, तब से ट्विटर पर हैशटैग ‘बॉयकॉट पठान’ ट्रेंड कर रहा है। सोशल मीडिया पर लोग गाने में शाहरुख और दीपिका पादुकोण के हरे और केसरिया परिधान पर आपत्ति जता रहे हैं। कुछ लोग शाहरुख की आने वाली फिल्म के बायकाट की अपील करते हुए उनके पुराने वीडियो भी निकाल रहे हैं।
कोलकाता फिल्म फेस्टिवल में उन्होंने विशेष रूप से पठान के लिए सोशल मीडिया की प्रतिक्रियाओं का जिक्र किए बिना कहा,”सिनेमा और सोशल मीडिया के माध्यम से अपनी बात को कहना भी अभिव्यक्ति का रूप है। हमारे समय का जो सामूहिक नैरेटिव है, वह सामाजिक रूप से आकार लेता है। ऐसा माना जाता है कि सोशल मीडिया का फैलाव सिनेमा को गलत तरीके से प्रभावित करेगा। मगर मेरा मानना इससे हटकर है। मुझे लगता है कि अब सिनेमा की भूमिका जरूरी होगी। सोशल मीडिया वैसे भी बड़ी संकीर्ण मानसिकता के साथ काम करता है। जो इंसानों को वही बने रहने देता है, जो वो थे। उससे बेहतर नहीं बनाता।”
उन्होंने आगे कहा, ”मैंने कहीं पढ़ा था कि नेगेटिविटी की वजह से सोशल मीडिया की मांग बढ़ती है। इससे उसका कमर्शियल वैल्यू बढ़ता है। इस तरह के व्यावसायिक पहलुओं के जुड़े होने की वजह से ये प्लैटफॉर्म विनाशकारी और विभाजनकारी हो जाते हैं।”
सिनेमा भाईचारे की बात करता हैः
शाहरुख ने कहा कि सिनेमा कहानियों के माध्यम से इंसानी वल्नरेबिलिटी को सामने लाता है। इससे हम एक-दूसरे को बेहतर तरीके से जान पाते हैं। इससे एक जवाबी नैरेटिव तैयार होता है। एक ऐसा नैरेटिव, जो करुणा और भाईचारे की बात करता है।”
बॉलीवुड के किंग खान ने कहा कि भविष्य की पीढ़ी के लिए एक बेहतर दुनिया का निर्माण करना समय की मांग है। उन्होंने कहा, “सिनेमा की दुनिया में दुनिया से मिलना आज की पुकार है। सिर्फ मिलना ही नहीं, बल्कि एक-दूसरे को बेहतर ढंग से समझने के लिए विभिन्न संस्कृतियों, रंगों, जातियों और धर्मों के लोगों के लिए एक कैरियर के रूप में सिनेमा की शक्ति का उपयोग करना चाहिए। कोलकाता फिल्म फेस्टिवल जैसे प्रयास दरअसल मौजूदा पूर्वाग्रहों (prejudices) को तोड़ने के लिए नए प्लेटफॉर्म बनाने का प्रयास है। आइए, एक साथ आएं और सिनेमा के जरिये अपनी आने वाली पीढ़ी के लिए एक बेहतर दुनिया का बनाएं।”
हम जैसे लोग फिर भी पॉजिटिव ही रहेंगेः
अपने भाषण की शुरुआत में शाहरुख ने अपनी मजाकिया मुस्कान के साथ बंगाली में बात शुरू की। उन्होंने अमिताभ बच्चन को शहर का ‘दामाद’ कहा। उन्होंने कहा, “सबसे पहले तो कोलकाता में होना बहुत अच्छा है। दीदी, दादा, कोलकाता के प्यारे दामाद अमिताभ बच्चन और जया आंटी को यहां देखकर बहुत अच्छा लगा। हम लंबे समय से नहीं मिले हैं। मैं अपनी प्यारी रानी को देखकर बहुत खुश हूं… लेकिन मैं आप सभी को देखकर सबसे ज्यादा उत्साहित हूं। मैं यहां दो साल बाद आया हूं।”
बता दें कि शाहरुख खान अपनी फिल्म पठान का प्रचार रविवार को कतर में अर्जेंटीना और फ्रांस के बीच होने वाले फीफा विश्व कप फाइनल के दौरान भी करते नजर आएंगे।
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