गुजरात और पकिस्तान की समुद्री सीमा की भूल का खामियाजा मछुआरों को भुगतना पड़ रहा है। गुजरात के 560 मछुआरे पाकिस्तानी जेल में बंद हैं।उनके परिजन मछुआरों की रिहाई का इंतज़ार कर रहे हैं। पाकिस्तान की जेलों में बंद आधे से अधिक मछुआरे 2 साल से अधिक समय से जेल में हैं।
पाकिस्तानी मछुआरे भी कभी-कभी गलती से सीमा पार कर भारत आ जाते हैं और भारतीय एजेंसियों द्वारा गिरफ्तार कर लिए जाते हैं। आमतौर पर मछुआरे अच्छी संख्या में मछलियां पकड़ने के लालच में गलती से सीमा पार कर जाते हैं
गुजरात सरकार ने विधानसभा को सूचित किया है कि गुजरात के 560 मछुआरे पाकिस्तानी जेलों में बंद हैं. ये मछुआरे गलती से सीमा पार कर गए और पाकिस्तानी सेना के हाथ लग गए। इसको लेकर विधानसभा में सवाल किया गया। जिसके जवाब में गुजरात के मत्स्य मंत्री राघवजी पटेल ने कहा कि गुजरात के कुल 560 मछुआरे 31 दिसंबर 2022 तक पाकिस्तान की हिरासत में हैं.
मंत्री ने कहा कि इनमें 274 को पिछले दो साल में गिरफ्तार किया गया है. उन्होंने कहा कि साल 2021 में पाकिस्तान ने गुजरात से 193 मछुआरे पकड़े और 2022 में पाकिस्तान ने 81 मछुआरे पकड़े।
- पाकिस्तान ने पिछले दो सालों में 55 भारतीय मछुआरों को रिहा किया था -जिनमें से 2021 में 20 और 2022 में 35 मछुआरों को रिहा किया गया।
पाकिस्तान द्वारा पकड़े गए मछुआरों के परिवारों को सरकार द्वारा दी जा रही सहायता के जवाब में गुजरात सरकार ने बताया कि पाकिस्तान में कैद 323 मछुआरों के परिवारों को प्रतिदिन 300 रुपये की सहायता दी जा रही है. वर्ष 2021 में 300 परिवारों को यह आर्थिक सहायता दी गई और 2022 में 428 परिवारों को यह आर्थिक सहायता दी गई।
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