भावनगर शहर से गुजर कर निकलती कंसारा नदी पर 20 साल बाद महानगर पालिका को आपातकालीन तौर पर गर्लफ्रेंड बनाने का निर्णय किया है l करीबन 7 किलोमीटर लंबी इस नदी के किनारे पर 3000 मकान बने हुए हैं जिनमें से पंद्रह सौ मकानों को तोड़ गिराने की नोटिस दी गई है।
भावनगर के पूर्वी इलाके में बह रही कंसारा नदी कालियाबिड से निकलकर सुभाष नगर विस्तार होकर दरिया से मिल जाती है l भावनगर के वर्तमान विधायक विभावरीबेन दवे की अगुवाई में कंसारा प्रोजेक्ट का नाम बदलकर सहजीकरण करके काम को शुरू कर दिया है।
रेगुलराइजेशन के तहत भावनगर महानगर पालिका ने मफत नगर विस्तार में पानी की पाइप लाइन को लगाने से लेकर इलेक्ट्रिक कनेक्शन भी दिए हैं और साथ ही में विधायकों द्वारा रोड और ब्लॉक भी मंजूर किए गए थे पर उसके बाद अचानक से वहा खड़े मकान गैरकानूनी हो जाते हैं और उन्हें गिराने का काम महानगरपालिका के एस्टेट विभाग द्वारा नहीं किया जा सकता – ऐसा मानना है वहा के रहने वालों का। अगर महानगर पालिका एक प्लान बना कर उसे मंजूरी दे सकती है तो हम भी ऐसे 5000 प्लान बनाकर महानगर पालिका में अनुमति के लिए रख सकते हैं कहते हुए वहां के रहने वाले ने यह भी बताया कि वह लोग इस मामले में शहर के मेयर को मिलकर बात की जानकारी देंगे। कोरोना महामारी में गरीबों की रोटी छीन ली है उसी वक्त 3000 मकान मालिकों को अपने ही घरों से बिगर किया जाएगा। आने के लोगों ने यह भी बताया एक घर में कम से कम 5 लोग है ऐसा माने तो भी 15000 लोग रोड पर आ जाएंगे और इस बात को लेकर वे लोग चुप नहीं रहेंगे।