बीते 14 मार्च को, राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने 16 नार्को-तस्करों के खिलाफ चार्जशीट दायर किया, जिसमें गुजरात के मुंद्रा बंदरगाह पर मादक पदार्थों की जब्ती से संबंधित एक मामले में छह अफगान नागरिक और एक महिला सहित चार भारतीय शामिल थे।
सूत्रों के अनुसार, नौ और आरोपियों को पंजाब के होशियारपुर जेल से गिरफ्तार किया गया है और स्थानीय अदालत में पेश करने के बाद ट्रांजिट वारंट पर अहमदाबाद लाया गया है। उन्हें साबरमती जेल में रखा जा रहा है और सोमवार को उनके खिलाफ रिमांड की अर्जी दाखिल की जा रही है। इनमें चार अफगान नागरिक और पांच भारतीय हैं।
इससे पहले गिरफ्तार किए गए राजकुमार पेरुमल, प्रदीप कुमार, मचावरम सुधाकर, उनकी पत्नी दुर्गा पूर्ण गोविंदराजू वैशाली और छह अफगानिस्तान के नागरिक- मोहम्मद हुसैनी, शोभन आर्यनफर, मोहम्मद खान अखलकी, फरदीन आमेर, आलोकोजई मोहम्मद खान और मुर्तुजा हकीमी शामिल हैं।
मामला सितंबर 2021 में मुंद्रा पोर्ट से 15,000 करोड़ रुपये की 2,998.21 किलोग्राम हेरोइन की जब्ती से संबंधित है। जांच के दौरान, यह पाया गया कि एक ही आरोपी ने जून 2021 में अफगानिस्तान के कंधार से ईरान के बंदर अब्बास बंदरगाह और फिर गुजरात के मुंद्रा बंदरगाह तक बड़ी मात्रा में हेरोइन की तस्करी की थी। बाद में पंजाब की होशियारपुर पुलिस ने 20-250 किलो हेरोइन जब्त की थी जिसमें आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था। एनआईए के सूत्रों ने दावा किया कि आरोपियों ने भारत में तस्करी के लिए अर्ध-संसाधित टाल्क (semi-processed talc) की खेप में भारी मात्रा में नशीले पदार्थों को छिपाने की साजिश रची। सूत्रों के मुताबिक मुंद्रा बंदरगाह से तस्करी कर लाया गया माल दिल्ली के एक गोदाम में छिपा हुआ था।
एनआईए के एक अधिकारी ने कहा, “खेप को पहले दिल्ली और फिर पंजाब ले जाया गया। जांच के दौरान यह पता चला है कि आरोपी मोहम्मद हसन हुसैन डैड और मोहम्मद हसन डैड और अन्य सह-साजिशकर्ता कथित रूप से पाकिस्तान स्थित प्रतिबंधित आतंकी संगठनों से जुड़े हुए हैं। भारत विरोधी गतिविधियों में उपयोग के लिए पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठनों के इशारे पर हवाला नेटवर्क के माध्यम से मादक पदार्थों की तस्करी की आय विदेशी संस्थाओं को वापस भेज दी गई थी।”